यहां कहने का मतलब ये बिलकुल नहीं है कि इंट्रा डे ट्रेडिंग नहीं करना चाहिए। लेकिन सोते जागते हमेशा याद रखिए इंट्रा डे सबसे मुश्किल और सबसे जोखिम भरी ट्रेडिंग है। विडंबना है कि इसमें शामिल ट्रेडर्स का एक बड़ा तबका इंट्रा डे ट्रेडिंग की तकनीक और जानकारी से वंचित होता है। इंट्रा डे लुभावना दिखता है। इसलिए नौसिखिए और अनाड़ी ट्रेडर्स बिना जानकारी के इसमें कूद पड़ते हैं। वे इसे वन-डे लॉटरी की तरह समझते हैं। जब तक अक्ल खुलती है तब तक वे अपनी पूंजी का बड़ा हिस्सा गंवा चुके होते हैं। इसलिए मेरी सलाह है कि नए निवेशकों को शुरूआत में इंट्रा डे ट्रेड नहीं करना चाहिए। शुरूआत लॉन्ग टर्म से कीजिए। फिर शॉर्ट टर्म ट्रेडिंग और जब आप ट्रेडिंग के उस्ताद बन जाएं तभी इंट्रा डे के मैदान में आएं।
Intraday Trading क्या है? Day Trading कैसे करें?
Intraday Trading क्या है? Day Trading कैसे करें? क्या आप भी intraday trading करने की सोच रहे हैं। लेकिन आप डे ट्रेडिंग के बारे में ज्यादा कुछ नहीं जानते हैं। तो फिर आइए आज हम आपको इंट्राडे ट्रेडिंग क्या होता है? इसे कैसे करे? साथ ही intraday करने के फायदे और नुकसान के बारे में विस्तार से जानकारी दूंगा।
Intraday Trading में किसी भी कंपनी के शेयर को एक ही ट्रेडिंग दिन के लिए खरीदा और बेचा जाता हैं। इसलिए इसे Day Trading भी कहते है। एक दिन में शेयर की कीमतों में उतार-चढ़ाव से intraday traders या day traders शेयर को खरीद और बिक्री करके प्रॉफिट कमाने का प्रयास करते हैं।
अगर आसान शब्दो में समझाए तो intraday trading का मतलब intraday traders बाजार के खुलने के बाद शेयर को खरीदते हैं और ठीक बाजार के बंद होने से इन्ट्रा डे ट्रेडिंग क्या है? पहले बेच देते हैं। अगर आपने अपना शेयर नहीं बेचा तो आपका ब्रोकर अपने आप position को square off कर देता है। वहीं अगर शेयर आपने NRML पर खरीदे हैं तो आपका ब्रोकर पोजिशन को delivery trade में बदल देगा।
Intraday Trading कैसे करे?
Day Trading करने के लिए आपको online trading platform (जैसे कि Zerodha, Upstock, Angel broking आदि) अंगेलब्र पर अपना demat account खोलना पड़ेगा। बिना डिमैट खाता के आप किसी भी तरह की ट्रेडिंग नहीं कर सकते हैं। इसलिए शेयर बाजार में ट्रेडिंग करने के लिए डिमैट अकाउंट होना आवश्यक है। बता दूं कि intraday trading में काफी risk होता है। इसलिए डे ट्रेडिंग करने से पहले आपको कुछ खास जानकारी होना आवश्यक है। आइए तो फिर जानते हैं।
1. Intraday Trading करने के लिए आपके द्वारा चुने गए शेयर लिक्विड होना चाहिए। इसका मतलब यह हुआ कि जिस स्टॉक को आप खरीद रहे हैं उसमे वॉल्यूम हाई होना चाहिए। अगर किसी भी स्टॉक में वॉल्यूम कम है तो intraday trading के लिए उस share से दूर रहना चाहिए।
2. Intraday Trading करने के लिए सिर्फ 2 - 3 तीन अच्छे शेयरों का चुनाव करें।
3. शेयर के चुनाव से पहले बाजार का ट्रेंड देखे। इसके बाद ही intraday trading के लिए शेयर चुने।
Intraday Trading के फायदे क्या है?
Intraday Trading के advantages जाना बहुत जरूरी होता है। क्योंकि यह फायदे अन्य ट्रेडिंग से डे ट्रेडिंग को भिन्य करते हैं।
1. निवेश या डिलीवरी की तुलना में इंट्राडे ट्रेडिंग में कम capital कि जरूरत होती है।
2. Intraday Trading में कम समय में प्रॉफिट कमा लेते हैं। लंबे समय तक आपको इंतजार नहीं करना पड़ता है।
3. अगर stock market में volatility ज्यादा हुई तो ज्यादा कमाई कर सकते हैं।
4. Day Trading में आपको leverage ज्यादा मिलता है। लेकिन लीवरेज सुविधा सभी ब्रोकर की अपनी अलग अलग होती है।
5. Day Trading में overnight risk नहीं होता है। वहीं होल्डिंग और लॉन्ग टर्म निवेश में overnight risk होता है।
6. Intraday Trading में आपको short selling कि भी सुविधा मिल जाती है। इसका मतलब यह हुआ कि किसी इन्ट्रा डे ट्रेडिंग क्या है? स्टॉक को पहले बेच सकते हैं। इसके बाद कम रेट पर खरीद सकते हैं।
Intraday Trading के नुकसान क्या है?
डे ट्रेडिंग के आपने फायदे तो जान लिए है। इसी को देखकर आप intraday trading करने के लिए तैयार हो गए होगे। आपको लग रहा होगा कि intraday trading करना बहुत आसान होता है। लेकिन बता दू कि इंट्रा डे ट्रेडिंग के अगर advantages है, तो उसके कुछ disadvantages भी हैं। जिन्हे आपको जानना जरूरी है। तो आइए इसके नुकसान के बारे में जानकारी प्राप्त करते हैं।
1. डे ट्रेडिंग में कुछ समय में प्रॉफिट कमाया जाता है। तो दूसरी तरफ कुछ समय में पैसा गवाया भी जाता है।
2. डे ट्रेडिंग में आपको कोई fix return नहीं मिलता है। यानी कि यहां कोई fix salary नहीं होती है जिस पर आप डिपेंड हो सके।
3. Leverage, अगर आपका प्रॉफिट को मल्टीपल करने के लिए मददगार साबित होता है। तो दूसरी तरफ आपका नुकसान भी मल्टिप्ल करता है।
4. Intraday Trade के लिए आपका discipline होना जरूरी है। अगर आप discipline नहीं रहे तो बहुत बड़ा नुकसान कर सकते हैं।
इंट्रा-डे ट्रेडिंग का मतलब जलती आग पर चलना
इंट्रा डे ट्रेडिंग में ट्रेडर के सामने समस्या समय की होती है क्योंकि ट्रेडर को सौदा उसी दिन खरीदकर उसी दिन बेचना होता है जैसे की अपने कोई शेयर 10 रुपए में खरीदा और एक घंटे बाद कोई ऐसी खबर आई, जिससे बाजार में मुनाफावसूली शुरू हुई और आपका शेयर नीचे की ओर लुढ़कने लगा। मान लीजिये दोपहर 1 बजे तक वो शेयर 8 रुपए तक गिर गया और मार्किट बदन होता है 3:15PM पर बंद हो जाता है इसलिए आपको वो सौदा इससे पहले-2 आपको बेचना ही पड़ेगा क्योंकि कैरी फॉरवर्ड तो आप कर नही सकते और कोई भी मार्किट हो एक बार डाउन ट्रेंड चालू हो गया तो समझो की उसके ट्रेंड में फेरबदल होना काफी मुस्किल होता है (किसी खास परिस्थिति को छोडकर) क्योंकि इस बात का किसी को पत्ता नही होता की आपका शेयर कब अपट्रेंड में ट्रेड करे। इसलिए काफी ट्रेडर इंट्रा डे में लोस बुक करते हैं और अपनी पूंजी गवां बैठते हैं।
लॉन्ग टर्म की तरह इंटरा डे में एंट्री-एक्जिट प्वाइंट रामबाण की तरह (How to Put Slop Loss Exit Point In Intraday Trading)
इंट्रा डे ट्रेडिंग करते समय दो बातों का खास खयाल रखना चाहिए- पहला- एंट्री और एक्जिट प्वाइंट निश्चित करने के बाद सौदा कीजिए। उसे बिलकुल मत बदलिए। एंट्री और एक्जिट प्वाइंट को अनुमान के आधार पर नहीं बल्कि विश्लेषण के आधार पर निश्चित कीजिए। दूसरा- इंट्रा डे ट्रेडिंग करते समय हमेशा आपकी उंगली स्टॉप लॉस के बटन पर होनी चाहिए। जैसे ही आपने सौदा किया, फौरन स्टॉप लॉस सेट कर दीजिए। क्योंकि कई बार ऐसा होता है कि आपने स्टॉप लॉस लगाने में सुस्ती दिखाई और कुछ ही मिनट के अंदर बाजार ने यू टर्न ले लिया। और जितनी देर में आप चाय पीकर वापस लौटे तो पता चला कि शेयर की कीमत आपके स्टॉप लॉस से भी दो इन्ट्रा डे ट्रेडिंग क्या है? फीसदी नीचे चली गई। ऐसी सूरत बड़ी खतरनाक होती है क्योंकि मुनाफा तो दूर, आप मनचाहे स्टॉप लॉस के प्वाइंट पर भी सौदा नहीं निपटा सकते हैं।
आज इन 6 शेयरों में खरीदारी का मौका, इंट्रा डे में करवा सकते हैं अच्छा मुनाफा
Day trading guide for Monday: शुक्रवार को अमेरिकी शेयर बाजार भारी गिरावट के साथ बंद हुए, जबकि भारतीय शेयर बाजार शुक्रवार को बढ़त के साथ। निफ्टी 50 इंडेक्स 36 अंक बढ़कर 17,558 पर बंद हुआ, बीएसई सेंसेक्स 59 अंक उत्तर में 58,833 पर बंद हुआ, जबकि निफ्टी बैंक इंडेक्स 36 अंक ऊपर चढ़कर 38,987 के स्तर पर बंद हुआ। आज इंट्रा डे में आप इन छह स्टॉक को फोकस में रख सकते हैं.
आज के लिए इंट्राडे स्टॉक साझा करते हुए, शेयर बाजार के विश्लेषकों - मेहुल कोठारी, एवीपी - आनंद राठी में तकनीकी अनुसंधान; वैशाली पारेख, वाइस प्रेसिडेंट- टेक्निकल रिसर्च, प्रभुदास लीलाधर और राजेश भोसले, टेक्निकल एनालिस्ट, एंजेल वन ने आज 6 शेयरों को खरीदने की सलाह दी।
इंट्रा-डे ट्रेडिंग का मतलब जलती आग पर चलना
इंट्रा डे ट्रेडिंग में ट्रेडर के सामने समस्या समय की होती है क्योंकि ट्रेडर को सौदा उसी दिन खरीदकर उसी दिन बेचना होता है जैसे की अपने कोई शेयर 10 रुपए में खरीदा और एक घंटे बाद कोई ऐसी खबर आई, जिससे बाजार में मुनाफावसूली इन्ट्रा डे ट्रेडिंग क्या है? शुरू हुई और आपका शेयर नीचे की ओर लुढ़कने लगा। मान लीजिये दोपहर 1 बजे तक वो शेयर 8 रुपए तक गिर गया और मार्किट बदन होता है 3:15PM पर बंद हो जाता है इसलिए आपको वो सौदा इससे पहले-2 आपको बेचना ही पड़ेगा क्योंकि कैरी फॉरवर्ड तो आप कर नही सकते और कोई भी मार्किट हो एक बार डाउन ट्रेंड चालू हो गया तो समझो की उसके ट्रेंड में फेरबदल होना काफी मुस्किल होता है (किसी खास परिस्थिति को छोडकर) क्योंकि इस बात का किसी को पत्ता नही होता की आपका शेयर कब अपट्रेंड में ट्रेड करे। इसलिए काफी ट्रेडर इंट्रा डे में लोस बुक करते हैं और अपनी पूंजी गवां बैठते हैं।
लॉन्ग टर्म की तरह इंटरा डे में एंट्री-एक्जिट प्वाइंट रामबाण की तरह (How to Put Slop Loss Exit Point In Intraday Trading)
इंट्रा डे ट्रेडिंग करते समय दो बातों का खास खयाल रखना चाहिए- पहला- एंट्री और एक्जिट प्वाइंट निश्चित करने के बाद सौदा कीजिए। उसे बिलकुल मत बदलिए। एंट्री और एक्जिट इन्ट्रा डे ट्रेडिंग क्या है? इन्ट्रा डे ट्रेडिंग क्या है? प्वाइंट को अनुमान के आधार पर नहीं बल्कि विश्लेषण के आधार पर निश्चित कीजिए। दूसरा- इंट्रा डे ट्रेडिंग करते समय हमेशा आपकी उंगली स्टॉप लॉस के बटन पर होनी चाहिए। जैसे ही आपने सौदा किया, फौरन स्टॉप लॉस सेट कर दीजिए। क्योंकि कई बार ऐसा होता है कि आपने स्टॉप लॉस लगाने में सुस्ती दिखाई और कुछ ही मिनट के अंदर बाजार ने यू टर्न ले इन्ट्रा डे ट्रेडिंग क्या है? लिया। और जितनी देर में आप चाय पीकर वापस लौटे तो पता चला कि शेयर की कीमत आपके स्टॉप लॉस से भी दो फीसदी नीचे चली गई। ऐसी सूरत बड़ी खतरनाक होती है क्योंकि मुनाफा तो दूर, आप मनचाहे स्टॉप लॉस के प्वाइंट पर भी सौदा नहीं निपटा सकते हैं।
Intraday trading | इन्ट्रा डे ट्रेडिंग क्या है?
दोस्तों अगर आप शेयर बाजार में काम करते हैं या शेयर बाजार की थोडी सी जानकारी भी रखते हैं तो आपने एक शब्द बार बार सुना होगा जो कि अभी शेयर बाजार में बहुत ज्यादा प्रचलित है Intraday trading. क्या आप जानते हैं कि ये Intraday trading होता क्या है? आज हम आपको इसी के बारे में बताने वाले हैं
अधिकतम अंक: 5
न्यूनतम अंक: 1
मतदाताओं की संख्या: 381